जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने एक बार फिर राज्य का दर्जा बहाल करने की मांग उठाई है। उन्होंने कहा कि इससे दिल्ली और जम्मू-कश्मीर के बीच की ‘दूरी’ कम होगी और चुनी हुई सरकार को अधिक अधिकार मिलेंगे। अब्दुल्ला ने यह बयान अनंतनाग में पत्रकारों से बातचीत के दौरान दिया।
उमर अब्दुल्ला ने कहा कि राज्य का दर्जा मिलने से चुनी हुई सरकार को अधिक अधिकार मिलेंगे और जनता से किए गए वादे पूरे होंगे। उन्होंने यह भी कहा कि उपचुनावों में नेशनल कॉन्फ्रेंस बडगाम से चुनाव लड़ेगी, जबकि नगरोटा सीट पर कांग्रेस को समर्थन दिया जाएगा
उमर अब्दुल्ला ने यह भी स्पष्ट किया कि उनकी पार्टी भाजपा के साथ गठबंधन नहीं करेगी।
उन्होंने कहा कि राज्य का दर्जा बहाल करने के लिए भाजपा के साथ गठबंधन करना उनकी पार्टी की नीति के खिलाफ होगा। केंद्र सरकार ने राज्य का दर्जा बहाल करने के लिए ‘उचित समय’ की बात कही है। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने कहा कि जम्मू-कश्मीर को राज्य का दर्जा ‘उचित समय’ पर बहाल किया जाएगा।
उमर अब्दुल्ला ने इस मुद्दे को लेकर सुप्रीम कोर्ट जाने की संभावना भी जताई है। उन्होंने कहा कि वह राज्य का दर्जा बहाल करने के लिए कानूनी रास्ता अपनाने पर विचार कर रहे हैं।
यह मुद्दा जम्मू-कश्मीर की राजनीति में महत्वपूर्ण बना हुआ है, और इस पर विभिन्न राजनीतिक दलों के बीच मतभेद जारी हैं। उमर अब्दुल्ला की यह मांग राज्य के दर्जे की बहाली के लिए एक नई पहल मानी जा रही है।